Saturday, December 31, 2011

Happy New Year - 2012.....नए साल-2012 की शुभकामनाएं...

................Happy New Year - 2012...............
सभी पुलिस मित्रों को नए साल की शुभकामनाएं............ POLICE NEWS परिवार..

Thursday, December 29, 2011

Mumbai Police: Anna Hazare: सरकार क्यों नहीं बनाती पुलिस कैंटिंन, अन्ना के अनशन के दौरान खाने को तरस जाते पुलिसवाले यदि लोकल बिजनेसमैन नहीं करते खाने-पीने का इंतजाम..

More than 3,000 cops who have been deployed for bandobast duty for the Team Anna protest at the Bandra-Kurla Complex, would have to fall back on the age-old system of "adjustment" and take help from local caterers and businessmen for food packets and water bottles. There is an unwritten rule in the police force, senior police officers told TOI, that the zonal deputy commissioner along with senior inspectors should arrange for cops' daily requirements. In case state reserve police force (SRPF) personnel are assigned on duty, local police must approach schools and other institutes in the vicinity to accommodate them.
An IPS officer, though, said this time, the SRPF has not been deployed in large numbers. Constables get Rs 700 food allowance every month and their seniors expect them to use the amount for expenses incurred during bandobast duty. Officers at the BKC police station, under whose jurisdiction the MMRDA ground is situated, were busy since the past two days to convince their wellwishers to provide food and water to policemen . They had also requested a local businessman to arrange for water drums for three days. An officer said, "The police are using their contacts for the purpose. Seniors usually don't provide sufficient funds." In case provision for water is not made, security personnel would have to walk a kilometer to reach the BKC police station. Besides, there are no cheap food stalls in the vicinity of ground, said an officer. Cops will be deployed in two, 12-hour-long shifts. "The local police have to keep the rule book aside to ensure that the personnel helping them to maintain the lawand-order situation should not face a food and water problem as it affects their morale." An IPS officer suggested that the government should create police canteens in different parts of the city or arrange for a mobile mess to deal with the issue.

Maharastra Police: महाराष्ट्र में सभी पुलिसवालों को अपनी संपत्ति का ब्यौरा देना होगा..

MUMBAI: Like IPS officials, police officers of the Maharashtra state cadre (from rank of deputy superintendent of police to sub-inspector) will also have to file their immovable property returns every year. According to the existing norms, the state cadre officers have to file immovable assets' returns once in five years.
Admitting that not all policemen were clean, home minister R R Patil said, "Like other departments, there are a few 'black sheep' in the police department, too. To ensure more transparency in the system, I have asked the department to make changes in the existing rules for declaration of immovable assets. IPS officials file their immovable property returns every year. On similar lines, the state cadre police officers, too, will now have to file declare their assets annually." Patil made the statement last week while replying to law and order debate on the last day of the assembly session which recently concluded in Nagpur.

Mumbai Police: Anna Hazare: अन्ना संग हुए पुलिसवाले, अन्ना के साथ लगाए गांधीवादी नारें..

मुम्बई।। अन्ना हजारे के अनशन के दौरान एमएमआरडीए मैदान में कुछ पुलिसवालों ने भी गांधीवादी कार्यकर्ता के समर्थन में नारे लगाए। ये पुलिसवाले सादी वर्दी में भीड़ में मिले हुए थे और इस बात पर नजर रख रहे थे कि कहीं वहां कोई शरारती तत्व तो मौजूद नहीं है।
ये पुलिसवाले हजारे के समर्थक नहीं थे, लेकिन किसी अप्रिय घटना को रोकने के उद्देश्य से भीड़ का हिस्सा बने हुए थे। एक कॉन्स्टेबल ने बताया, 'हमें ऐसा करने के लिए निर्देश मिले थे। सादी वर्दी में हमने कई बार नारे लगाए।' पुलिस उपायुक्त (प्रवक्ता) निसार तम्बोली से जब संपर्क किया गया तो उन्होंने टिप्पणी करने से इनकार कर दिया।

Wednesday, December 28, 2011

UP Police: Kanpur: रात भर वायरलेस पर गुंजता रहा डीआईजी साहब का मैसेज, चुनाव संहिता में कोई डील ना हो..

कानपुर। रविवार रात डीआईजी ने वायरलेस पर संदेश दिया है। उन्होंने कहा कि हर साल में आदर्श आचार संहिता का पालन कराएं। ज्वलनशील इलाकों, मतदान और मतदेय स्थनों को चिन्हित किया जाए। मतदान से रोकने वाले लोगों पर कड़ी कार्रवाई की जाए, ताकि मतदाता निडर होकर मतदान कर सकें। जिन लोगों पर पिछले चुनाव में गड़बड़ी के आरोप लगे थे, उन पर सख्त कारवाई की जाए।
डीआईजी ने कहा कि किसी भी हाल में सरकारी इमारतों पर राजनैतिक दलों के पोस्टर और बैनर न लगें। प्रत्याशी के दफ्तर में एक बैनर और पोस्टर ही लगाया जाएगा। अवैध शराब और शस्त्र खरीदने और बेचने वालों पर कड़ी कार्रवाई की जाए। साथ ही जिन लोगों के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी है, उनकी गिरफ्तारी की जाए। आचार संहिता का उल्लंघन करने वाले प्रत्याशी और उनके समर्थक पर कानूनी कार्रवाई की जाए, ताकि शांति पूर्ण तरीके से चुनाव संपन्न कराया जा सके।

HR Police: Gurgoan: पुलिस की कार्यशैली और व्यवहार पर उंगली उठाने वालों को अब देना होगा पुलिस के सवालों का जवाब, गुड़गांव ट्रैफिक पुलिस बांट रहीं दस हजार पेम्पफ्लेट्स..

अब ट्रैफिक पुलिस लोगों से पूछेगी कि शहर की रोड को सेफ बनाने में उनका क्या योगदान रहा। ऐसे ही और भी कई सवाल पुलिस लोगों से पूछने जा रही है। इसके लिए पुलिस करीब 10 हजार पम्फलेट प्रिंट करा लोगों और वाहन चालकों के बीच बांटेगी। साल के अंतिम दो दिन यह अभियान चलाया जाएगा। इससे पुलिस लोगों को टै्रफिक नियमों के प्रति जागरूक करने के साथ साथ उनकी जिम्मेदारी भी बताएगी। इसके लिए डीसीपी ट्रैफिक ने अपने सभी ट्रैफिक इंस्पेक्टर, जोनल ऑफिसरों और दोनों ट्रैफिक पुलिस थानों के प्रभारियों को आवश्यक दिशा निर्देश दे दिए हैं।
हर समय पुलिस की कार्यशैली व व्यवहार पर उंगली उठाने वाले लोगों को अब पुलिस के सवालों का जवाब देना होगा। पम्फलेट के माध्यम से पुलिस लोगोें व वाहन चालकांे से यह पूछेगी कि रोड को सेफ बनाने में उनका क्या योगदान रहा? उन्होंने ट्रैफिक नियमों के तहत गाड़ी चलाई या नहीं? क्या आप आगे से ट्रैफिक नियमों का पालन करेंगे? इस तरह के दर्जन भर सवाल पुलिस लोगोें से पूछेगी। इसके बाद पुलिस लोगों से यह प्रण भी करवाएगी कि वह आगे से ट्रैफिक नियमों के तहत ही गाड़ी चलाएंगे। ऐसा करके वह न केवल अपनी बल्कि दूसरों की जिंदगी भी सुरक्षित रख सकेंगे। यह अभियान एक्सप्रेस वे, हाइवे, एमजी रोड, डीएलएफ, सुशांत लोक, सेक्टर 55/56 के अलावा सोहना रोड और ओल्ड सिटी में चौक चौराहों पर चलाया जाएगा। डीसीपी ट्रैफिक भारती अरोड़ा ने बताया कि लोगों में जागरूकता लाने व उनकी जिम्मेदारी तय करने के लिए यह अभियान चलाया जाएगा। लोगों से रोड को सेफ बनाने में उनके योगदान के बारे में पूछा जाएगा ताकि उन्हें भी अपनी जिम्मेदारी का अहसास हो सके।

Punjab Police: Jalandher: साहब चले गए नाम वेबसाइट पर रह गया..पंजाब में जालंधर जिला पुलिस पर सुस्ती का आरोप..

खुद को हाईटेक करने का दावा कर वेबसाइट लांच करने वाली जिला पुलिस अपनी वेबसाइट को अपडेट करने में सुस्त है। पुलिस अधिकारियों के बदले जाने या नए आने की सूचना फौरन वेबसाइट पर आ जानी चाहिए, पर ऐसा नहीं हो पा रहा है। अभी भी जिला पुलिस की वेबसाइट पर कुछ ऐसे अधिकारी हैं, जो यहां से जा चुके हैं, पर वेबसाइट पर वह जालंधर में ही नियुक्त हैं। इसके अलावा जिला पुलिस की वेबसाइट पर एक फेक पाथ ऐसा भी है, जो पुलिस को बदनाम कर रहा है। इस फेक पाथ पर पुलिस के बर्बर कारनामों के साथ-साथ अश्लीलता भी भरी हुई है।
अभी कुछ दिन पहले ही एसीपी ट्रैफिक दिलजिंदर सिंह ढिल्लों जालंधर से ट्रांसफर हो चुके हैं। उनकी जगह पर एसीपी राहुल चार्ज ले चुके हैं। बावजूद इसके पुलिस की वेबसाइट में एसीपी ट्रैफिक दिलजिंदर सिंह की तस्वीर नजर आती है। इसके अलावा एडीसीपी राजपाल सिंह संधू भी बदल चुके हैं और उनकी जगह पर एडीसीपी एचएस खख चार्ज ले चुके हैं, लेकिन वेबसाइट पर सर्च मारने पर एडीसीपी राजपाल सिंह संधू का ही नाम नजर आता है। इसी तरह एसीपी क्राइम राजिंदर चीमा भी जा चुके हैं, पर वेबसाइट पर उन्हीं का नाम आ रहा है