भोपाल एंटी टेररिस्ट स्क्वाड (एटीएस) ने मणप्पुरम गोल्ड फाइनेंस के दफ्तर में हुई प्रदेश की सबसे बड़ी डकैती का पर्दाफाश कर सवा छह किलो सोना बरामद किया है। स्टूडेंट इस्लामिक मूवमेंट ऑफ इंडिया (सिमी) और इंडियन मुजाहिदीन (आईएम) के आतंकियों ने भोपाल में इस वारदात को अंजाम दिया था।
वारदात से एक माह पहले आतंकियों ने शहर की आमवाली मस्जिद के पास किराए से मकान लिया था। लूटे गए माल को वे इसी घर में रख गए थे। दूसरी तरफ, मणप्पुरम डकैती मामले में पहले ही भोपाल पुलिस कुछ लोगों को गिरफ्तार कर उनके खिलाफ चालान पेश कर चुकी है।
एटीएस आईजी विपिन माहेश्वरी ने शुक्रवार को बताया कि गिरफ्तार आतंकियों ने ही 23 अगस्त 2010 को मणप्पुरम गोल्ड फाइनेंस कंपनी में डकैती डाली थी। माहेश्वरी ने बताया कि डॉ. अबु फैसल ही वारदात का मास्टरमाइंड है। वारदात से महीने भर पहले उसने पूरी साजिश रची थी। आतंकियों ने आमवाली मस्जिद के पास लतीफ टेलर के यहां किराए का मकान लिया। यहां अबु, इकरार शेख, मुजीबुर्रहमान, असलम, जाकिर और एयाजुद्दीन ठहरे थे। वारदात से हफ्ते भर पहले आतंकियों ने मणप्पुरम गोल्ड फाइनेंस कंपनी के दफ्तर की रेकी की।
इन्हें हर कर्मचारी के आने-जाने का समय मालूम था। वारदात के दिन आमवाली मस्जिद से ये छह आतंकी दो बाइक पर सवार होकर आए। जैसे ही सुबह 9:30 बजे चौकीदार चाय पीकर दफ्तर आया, अबु व उसके एक साथी ने उसका मुंह दबोचकर बाथरूम में बंद कर दिया। इसके बाद दो आतंकी गेट पर आ गए और चार अंदर चले गए। जैसे ही मैनेजर आया, उसको कट्टा अड़ाकर चाबी ले ली। इसके बाद सभी ने तिजोरी से माल बटोरा और बाइक से फरार हो गए।
आतंकियों ने मोती मस्जिद के पास बाइक छोड़ दी और वहां से तीन आतंकी मंडीदीप में लिए गए किराए के मकान में चले गए, जबकि तीन सोना लेकर आमवाली मस्जिद वाले मकान में पहुंच गए। रातभर यहां रहने के बाद अगले दिन सभी आतंकी रतलाम चले गए।
कब : 23 अगस्त 2010
कहां और क्या भोपाल टॉकीज के पास हुई मणप्पुरम गोल्ड फाइनेंस कंपनी में डकैती, दिनदहाड़े 13 किलो सोना (कीमत ढाई करोड़ रुपए) लूट ले गए सशस्त्र बदमाश।
पुलिस कार्रवाई भोपाल पुलिस ने दो महीने तक इसकी जांच की। इस दौरान एक हजार से ज्यादा लोगों के बयान लिए गए। बिहार, दिल्ली, मुंबई, वडोदरा, अहमदाबाद सहित कई शहरों में पुलिस टीम भेजी गई, लेकिन कुछ सुराग नहीं लगा। इसी दौरान जेके रोड स्थित इलाहाबाद बैंक में डकैती डालने आए शैलेंद्र सिंह और शरद सिंह पुलिस के हत्थे चढ़े। इन्हीं पर पुलिस ने मणिप्पुरम डकैती का आरोप जड़ दिया और उनके खिलाफ चालान भी पेश कर दिया।और अब एटीएस का दावा आतंकियों ने डाली डकैती, सवा छह किलो सोना बरामद।
आगे क्या?
यदि एटीएस की कहानी सही हुई तो भोपाल पुलिस द्वारा इस मामले में आरोपी बनाए गए शैलेंद्र महतो व शरद को दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 169 के प्रावधानों के तहत डिस्चार्ज करवाया जाएगा।
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